सेक्टर 19 डिस्पेंसरी में एनएसयूआई ने दिया सांकेतिक धरना, लापरवाह डॉक्टरों के निष्कासन की मांग
पंचकूला। मरीजों के साथ दुर्व्यवहार किए जाने के साथ साथ खाली पर्चियों पर ही मरीज को रेफर कर दिया जाता है। डॉक्टर सरकारी संरक्षण व राजनीतिक प्रभाव के चलते पर्ची पर मरीज का नाम होने के बिना ही रेफर बना देते है, साथ साथ बीमारी का लिखा होना तो दूर की बात है।
नियमताओ के खिलाफ व डिस्पेंसरी में डॉक्टरों द्वारा निर्धारित ड्यूटी न किए जाने के खिलाफ एनएसयूआई आरटीआई सेल के राष्टÑीय कन्वीनर दीपांशु बंसल के नेतृत्व में दर्जनों छात्रों ने सांकेतिक धरना प्रदर्शन दिया। बंसल ने बताया कि सारे मामले की जानकारी प्रदेश के मुख्यमंत्री को ज्ञापन के माध्यम से दी गई है। बंसल ने एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं के साथ सीएम के नाम एसएमओ को ज्ञापन भी सौंपा है।
पंचकूला की डिस्पेंसरियों में हालात बद से बदतर हो चुके है। दीपांशु ने बताया कि उन्हें सूचना दी गई है कि यहाँ कथित तौर पर एक सांसद की संबंधी बतौर डॉक्टर नौकरी करती है, जो अपना रूतबा बनाने के लिए एसएमओ समेत अन्य 3 कर्मचारियों के तबादले करवा चुकी है। विशेषकर कथित तौर पर सांसद की संबंधी डॉक्टर न मरीजों को अटैंड करती है, न ही कभी ड्यूटी करती है। काफी समय से पंचकूला सैक्टर 19 की डिस्पेंसरी में ड्यूटी पर मरीजों को न देखने की शिकायतें मिल रहीं हैं, क्योंकि इस डिस्पेंसरी में कारखानों में काम करने वाला श्रमिक वर्ग ही उपचार करवा सकता है, मगर यहाँ डॉक्टर्स की नेग्लिजेंसी के कारण श्रमिकों को धक्के खाने पड़ रहें हैं। ऐसे हालातो के सुधार के लिए प्रदर्शन के माध्यम से मांग की गई है।
दीपांशु बंसल ने बताया कि जहां तो एक तरफ सरकार अपने झूठे दावों को लेकर जनता को गुमराह करने का काम कर वोट बटोरती है वही अब उनके झूठे ढोल की पोल खोलने का काम कांग्रेस छात्र इकाई द्वारा किया जा रहा है।