-कमलेश भारतीय

यह एक उम्र का बहुत बड़ा सवाल बन जाता है कि नींद क्यों रात भर नहीं आती ? और अगर पूरी नींद ले भी ली और फिर भी उठने के बाद आप फ्रेश महसूस नहीं करते तो यह भी एक समस्या से कम नहीं है ! आठ घंटे की भरपूर नींद के बाद भी थके थके से क्यों? इसे ताज़गी न देने वाली नींद कहा जाता है । यदि अक्सर आप ऐसा ही महसूस करते हैं तो यह खतरे की घंटी से कम नहीं ! आपको अलर्ट होने की जरूरत है ।

न्यूरोलोजिस्ट डाॅ सोनजा कहती हैं कि हर सुबह थका हुआ जागना निराशाजनक है आपके लिए ! यह आपकी पूरी दिनचर्या को बिगाड़ सकता है । नींद की गुणवत्ता में सुधार लाने और सुबह तरोताज़ा होने पर विचार कीजिये, कोई उपाय कीजिये ! यदि आप लगातार नींद कम आने से जूझ रहे हैं तो अपनी आदतों की ओर ध्यान दीजिये और एक ही समय पर सोना, दिन के समय भरपूर काम और खानपान की ओर ध्यान दीजिये ! लक्ष्य रखे़ं और उन्हें पूरा करने पर ध्यान केंद्रित रखिये ! प्रतिदिन सुबह कम से कम बीस मिनट की सैर अपनी सुबह में शामिल कर लीजिए ! अपनी दिनचर्या पहले से निर्धारित कर लीजिए तो और बेहतर रहेगा ! देर रात जागना या रात का खाना देरी से खाना भी नींद में बाधा बन सकता है । नींद की ज्यादा दवाइयां लेने से बचिये तो बेहतर रहेगा आपके लिए ! पानी बीच बीच में पीते रहिये ! निष्क्रिय न रहिये, कुछ न कुछ काम ढूंढते रहिये तो अच्छा रहेगा !

बाकी कहते हैं कि धीमा धीमा संगीत और बहुत डिम सी रोशनी में भी नींद आपको अपनी आगोश में लेते देर नहीं लगाती। अच्छा साहित्य भी साथ दे सकता है नींद लाने में । मनपसंद संगीत सुनिये और फिर मस्त मस्त नींद ही नहीं ख्बाब लीजिए ! सपनों में वे भी आयेंगे, जिनको आप दिनभर याद करते रहे हैं! बस, यह शिकायत न कीजिये :
नींद क्यों रात भर आती नहीं?
-पूर्व उपाध्यक्ष, हरियाणा ग्रंथ अकादमी। 9416047075

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