चुनावी वर्ष में रेवडियां बांट कर जनता को लुभाने का असफल प्रयास ………. 

जींद, 6 जनवरी :– ग्रामीण क्षेत्र में रहने वाले हरियाणा में लगभग 29 लाख लोगों के 372 करोड़ रुपये के पानी के बिल माफ करने की मुख्यमंत्री की घोषणा पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए डीआईपीआरओ रिटायर्ड सुरेन्द्र कुमार वर्मा, समाज सेवी डा राजकुमार गोयल, रिटायर्ड कर्मचारी नेता बलराज सन्धू व सूरतसिंह सैन,अखिल भारतीय स्वर्णकार संघ जिला जींद के युवा प्रधान राजेन्द्र सोनी,राधेश्याम सोनी, जितेन्द्र अहलावत, रिटायर्ड कर्मचारी नेता मियासिंह खटकड़ व शीशपाल लौहान,डा सतबीर खटकड़, बृजभूषण गोयल,किताबसिंह भनवाना,छाज्जूराम नैन,प्रेमसिंह बांगड़,राधेश्याम  गर्ग,रामफल शर्मा,जयनारायण भारद्वाज,भलेराम बूरा,इंजि सत्यवान मुदगिल,अर्जुन सैनी एवं अन्य शहरी नागरिकों ने कहा कि पानी के बिल माफ करना यद्यपि यह एक अच्छा कदम है लेकिन शहरी क्षेत्र की जनता का क्या कसूर है ?

उन्होंने कहा कि टैक्स तो शहरी जनता भी देती है और वोट शहरी लोगों की भी होती है। उन्होंने कहा कि निर्वाचित जन प्रतिनिधि को शहरी व ग्रामीण दोनों ही क्षेत्रों की जनता की वोट मिलती हैं तो फिर ग्रामीण और शहरी के आधार पर जनता में भेदभाव क्यों ? उन्होंने मांग करते हुए कहा कि शहरी क्षेत्र की जनता के भी पानी के बिल माफ होने चाहिए। उन्होंने कहा कि चुनावी वर्ष में सरकार रेवडियां बांटकर जनता को भ्रमित कर दोबारा वोट लेने की कोशिश तो करेगी लेकिन जनता अब समझदार हो चुकी है। सरकार के झांसे में आने वाली नहीं है। उन्होंने कहा कि जब से बीजेपी आई है तबसे भेदभाव की राजनीति कर रही है। अब पानी के बिल माफ करने में भी शहरी व ग्रामीण के आधार पर भेदभाव किया गया है जोकि गलत है।

उन्होंने शहरी जनता के पानी के बिल भी तुरन्त प्रभाव से माफ करने की हरियाणा सरकार से मांग की है। उधर,शहर की सामाजिक संस्था राखी बारहा कल्याण मंच, पिछडा़ वर्ग कल्याण मंच, अखिल भारतीय स्वर्णकार संघ जिला जींद की युवा इकाई, हरियाणा पैंशनर्ज वैलफेयर एसोसिएशन जींद एवं ज्वाईंट एक्शन कमेटी रिटायर्ड कर्मचारी, मानव विकास संगठन, हरियाणा राज्य पैंशनर्ज समाज जींद, पिछडा़ वर्ग कल्याण महासभा, सैन समाज, सोनी समाज व अन्य संस्थाओं के पदाधिकारियों एवं सदस्यों ने कहा कि शहरी जनता के पानी के बिल भी माफ होने चाहिए।

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