2014 से 2021 के बीच 200 करोड़ का चावल कर चुके हजम, अब 38 करोड़ का और डकारा
अफसरों की मिलीभगत के चलते ही इससे पहले फोर्टिफाइड चावल के नाम पर कर चुके बड़ा खेल

चंडीगढ़, 4 अक्तूबर। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की महासचिव, पूर्व केंद्रीय मंत्री, कांग्रेस कार्यसमिति की सदस्य एवं हरियाणा कांग्रेस कमेटी की पूर्व प्रदेशाध्यक्ष कुमारी सैलजा ने कहा कि भाजपा-जजपा गठबंधन सरकार की नाक के तले अफसर व राइस मिलर्स हर साल करोड़ों रुपये के चावल घोटाले को अंजाम दे रहे हैं। साल 2014 में भाजपा की सरकार बनने से साल 2021 तक 200 करोड़ का चावल घोटाला सामने आ चुका है, अब इस साल 38 करोड़ रुपये का चावल और डकार लिया गया है। सिर्फ कागजी खानापूर्ति कंप्लीट करने के लिए पुलिस में शिकायत देने की बात कही जा रही है।

मीडिया को जारी बयान में कुमारी सैलजा ने कहा कि मुख्यमंत्री के गृह जिले करनाल के मिलर्स ने धान खरीद का एक साल बीतने के बाद भी 38 करोड़ रुपये से अधिक का चावल अभी तक वापस सरकार को जमा नहीं करवाया है। नियमों को ताक पर रखते हुए अफसर भी बार-बार इसे जमा कराने का समय बढ़ाने का खेल खेलते रहे। मिलर्स का प्रयास था कि वे धान की तैयार हो रही फसल को खरीद कर ही सरकार को चावल दें। क्योंकि, सरकार से लिए धान से निकाला गया चावल वे पहले ही महंगे दामों पर ओपन मार्केट में बेच चुके हैं। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि 2014 में भाजपा की सरकार बनने के बाद से साल 2021 के बीच 200 करोड़ रुपये का चावल मिलर्स जमा कराने में विफल रहे। यह चावल भी अफसरों व मिलर्स की मिलीभगत और सरकार में बैठे लोगों के आशीर्वाद के चलते घोटाले की भेंट चढ़ गया। सरकार ने सिर्फ एफआईआर दर्ज करने की खानापूर्ति के अलावा कुछ नहीं किया। अब फिर इसी पैटर्न पर 38 करोड़ से अधिक के घोटाले को अंजाम दे दिया गया है।

उन्होंने कहा है कि पिछले दिनों विभिन्न योजनाओं के तहत आंगनबाड़ी, स्कूल आदि में बांटे जाने वाले फोर्टिफाइड चावल के 111 सैंपल फेल हो गए थे। एक भी सैंपल निर्धारित मानक पर खरा नहीं पाया गया। सैंपल की जांच में यह भी खुलासा हुआ है कि इस चावल को फोर्टिफाइड किया ही नहीं गया। जबकि, प्रदेश के बच्चों व महिलाओं को कुपोषण से बचाने के लिए इस चावल को भारत सरकार के निर्देश पर फोर्टिफाइड करना होता है। पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि फोर्टिफाइड चावल का मतलब पोषणयुक्त चावल होता है। इसमें आम चावल की तुलना में आयरन विटामिन बी-12, फॉलिक एसिड की मात्रा अधिक होती है। इसके अलावा जिंक, विटामिन ए, बी डालकर भी फोर्टिफाइड चावल तैयार किया जाता है। इससे भोजन में पोषक तत्वों की मात्रा बढ़ जाती है। कुमारी सैलजा ने कहा कि राइस मिलर व खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारियों की मिलीभगत से किए गए इस घोटाले को सरकार में बैठे लोगों ने ही दबा दिया, ताकि उनकी खुद की भूमिका उजागर न हो जाए।