एडवांस सॉयल टेस्टिंग लेबोरेट्री एवं वर्मीकम्पोस्ट प्रदर्शन यूनिट होगी स्थापित

चंडीगढ़, 5 जुलाई – हरियाणा के मुख्य सचिव श्री संजीव कौशल की अध्यक्षता में राष्ट्रीय कृषि विकास योजना, की आज हुई राज्य स्तरीय स्टीयरिंग कमेटी की बैठक में कृषि एवं किसान कल्याण बागवानी विभाग, चौ. चरण सिंह कृषि विश्वविद्यालय, हरियाणा राज्य कृषि मार्केटिंग बोर्ड, सैंट्रल सॉयल सेलिनिटी रिसर्च इंस्टीच्यूट करनाल, भारतीय गेहंू एवं बाजरा रिसर्च संस्थान करनाल की वर्ष 2023-24 की विभिन्न योजनाओं के लिए 1371.91 करोड़ रुपए की वार्षिक कार्य योजनाओं को स्वीकृति दी गई। इन योजनाओं को केंद्रीय कृषि मंत्रालय भारत सरकार को स्वीकृति के लिए  भेजा जाएगा।

एडवांस सॉयल टेस्टिंग लेबोरेटरी एवं वर्मी कम्पोस्ट प्रदर्शन यूनिट होगी स्थापित

मुख्य सचिव ने कहा कि कृषि विश्वविद्यालय द्वारा उचानी के बायोपेस्टीसाईड लेबोरेटरी को सुदृढ़ और नया नेचुरल फार्मिंग पेस्टीसाइड प्रोडक्शन यूनिट विकसित किया जाएगा। इसके अलावा एडवांस सॉयल टेस्टिंग लेबोरेटरी एवं वर्मी कम्पोस्ट प्रदर्शन युनिट लगाई जाएगी। भारतीय गेहूं एवं बाजरा रिसर्च संस्थान द्वारा छोटे एवं मध्यम दर्जे के किसानों की आय में वृद्धि करने के लिए गेहूं आधारित एग्री प्रेन्यूरशिप सेंटर स्थापित किया जाएगा तथा नेचुरल फार्मिंग को बढावा देने पर भी विशेष कार्यक्रम आयोजित किए जाएगें।

कृषि विभाग द्वारा जैविक कृषि को बढावा

मुख्य सचिव ने कहा कि कृषि विभाग द्वारा जैविक कृषि को बढावा देने पर कार्य किया जाएगा । इसके अलावा मिट्टी का निष्पादन एवं जल संरक्षण क्रियान्वयन को लेकर भी बेहतर कार्य किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अधिकारी किसानों में विश्वसनीयता बनाये रखने के लिए बेहतर कार्य योजना बनाने का प्रयास करें ताकि किसान उनकी योजनाओं का बेझिझक लाभ उठा सकें।

लवणीय भूमि पर किसानों को खजूर की खेती करने के लिए स्थाई प्रोडक्शन सिस्टम किए जाएंगे विकसित

उन्होंने बताया कि सीएसएसआरआई करनाल द्वारा किसानों के खेतों में पायलट प्रोजेक्ट के तहत गावों में भूजल को रिचार्ज करने के लिए बेहतर ढांचा तैयार किया जाएगा। लवणीय भूमि पर किसानों को खजूर की खेती करने के लिए स्थाई प्रोडक्शन सिस्टम भी विकसित किए जाएगें।

उन्होंने बताया कि सीएसएसआरआई करनाल द्वारा किसानों के खेतों में पायलट प्रोजेक्ट के तहत गावों में भूजल को रिचार्ज करने के लिए बेहतर ढांचा तैयार किया जाएगा। लवणीय भूमि पर किसानों को खजूर की खेती करने के लिए स्थाई प्रोडक्शन सिस्टम भी विकसित किए जाएगें।

मुख्य सचिव ने कहा कि कृषि वैज्ञानिक कम लागत और कम पानी की कृषि एवं बागवानी के क्षेत्र में नवीनतम वैरायटी विकसित कर किसानों से शेयर करें ताकि किसान उनका लाभ उठाकर आर्थिक रूप से सशक्त एवं मजबूत बन सके। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों की आय दोगुनी करने पर विशेष बल दे रही है। इसलिए कृषि वैज्ञानिकों को भी सरकार के लक्ष्य को पाने के लिए सकारात्मक प्रयास करने चाहिए।  

उन्होंने बताया कि बागवानी विभाग द्वारा किसानों को बागवानी की ओर अग्रसर करने के लिए 7 स्थानों पर प्रशिक्षण दिया जाएगा। इनमें भूना में अमरूद, घरौंडा में सब्जी, सीएसटीएफ लाडवा, पीटीसी शरमगढ, आईएचडीसी सुनद्रह, होडल तथा पिनंगवा प्रशिक्षण एवं सुविधा केन्द्र शामिल हैं।

शॉर्ट वीडियो फिल्म बनाकर किसानों से करें साझा

मुख्य सचिव ने कहा कि सफल आर्गेनिक किसान फार्म एवं बागवानी फार्माे की शॉर्ट वीडियो फिल्म बनाकर किसानों से साझा करें ताकि अन्य किसान उनसे प्रोत्साहित होकर नवीनतम बागवानी एवं कृषि फसलों की ओर अग्रसर हो सकें। उन्होंने कहा कि व्यापक स्तर पर प्रचार प्रसार के माध्यम से हर किसान तक पहुंच आसान बनेगी और अन्य राज्यों के किसान भी उनका लाभ उठा पाएगें। इसके अलावा पारदर्शिता के साथ सफल किसान फार्म की साइंटिफिक स्टडी भी करवाएं।

उन्होंने कहा कि कृषि एवं किसान कल्याण विभाग द्वारा अनुसूचित जाति के किसानों के लिए समुदाय आधारित जल संवहन प्रणाली, स्प्रे प्रशिक्षण, डिजिटल लेब की क्षमता बढ़ाने और मजबूत करने पर कार्य किया जाएगा। इसके अलावा परम्परागत कृषि विकास योजना, हर बूंद का उपयोग और अधिक फसल तथा किसानों के लिए कस्टम हायरिंग, हाईटेक, हाई प्रोडेक्टिव इक्विपमेंट मुहैया कराने पर विशेष बल दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि नेशनल फूड सिक्योरिटी एंड न्यूट्रिशन मिशन, नेशनल मिशन ऑन एडिबल ऑयल सीडस एण्ड सर्टिफाईड सीड्स, नेशनल बी कीपिंग एण्ड हनी मिशन पर विस्तार से कार्य किया जाएगा।

बैठक में राष्ट्रीय कृषि विकास योजनाओं के डीपीआर बेस्ड प्रोजेक्ट, वार्षिक कार्य योजना, सॉयल हेल्थ फर्टिलिटी, वर्षा आधारित क्षेत्र का विकास, एग्रो फोरेस्ट्री, पीएमडीसी, एसएमएएम, सीआरएम योजनाओं की वार्षिक कार्य योजनाओं पर भी विस्तार से चर्चा की गई।

बैठक में अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री सुधीर राजपाल, डा. जे के आभीर, बागवानी, सिंचाई विभागों के वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे। कृषि मंत्रालय भारत सरकार से उप निदेशक पंकज सहित कई अधिकारी ऑनलाईन जुड़े।

error: Content is protected !!