जिला बार के पूर्व प्रधान के साथ क्लाइंट के पति की हाथापाई

पुलिस ने हिरासत में लिया, वकीलों में रोष, जिला बार की बैठक जारी, भारी पुलिस बल तैनात
2 दिन पहले भी दो अधिवक्ताओं को दी गई थी धमकियां, मामला हुआ था दर्ज

भारत सारथी/ कौशिक

नारनौल। बुधवार को जिला कोर्ट रूम में अधिवक्ता के साथ उसकी क्लाइंट के पति ने चैंबर के बाहर हाथापाई की। आसपास खड़े वकीलों ने बीच बचाव किया। हंगामा होता देख वकील एकत्रित हो गए। इसकी सूचना पुलिस को दी गई।

सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंच गई और हाथापाई करने वाले व्यक्ति को हिरासत में ले लिया। कोर्ट परिसर में भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया है। जिला बार की बैठक में वकीलों पर बढ़ रहे हम लोगों की निंदा की गई वकीलों का कहना था कि ऐसे मामलों में जिला प्रशासन को सख्त से सख्त कदम उठाना चाहिए।

घाटासेर निवासी उक्त व्यक्ति की उसकी पत्नी के साथ विवाद चल रहा है। बताया जा रहा है कि मारपीट करने वाले इस व्यक्ति ने अधिवक्ता से उसकी पत्नी का केस नहीं लड़ने की बात कही। बुधवार दोपहर बाद करीब 12:30 बजे कोर्ट रूम के बाहर एडवोकेट मनीष वशिष्ठ को उक्त व्यक्ति मिल गया उसने एडवोकेट मनीष वशिष्ठ से झगड़ा शुरू कर दिया। इस पर बहस हो गई और बाद में महिला के पति ने अधिवक्ता के साथ मारपीट कर दी। इस बीच वहां पर अनेक वकील एकत्रित हो गए जबकि झगड़ा करने वाले व्यक्ति को वहां पर तैनात पुलिसकर्मियों ने पकड़ लिया।

अधिवक्ताओं ने बैठक कर जताया रोष

घटना के बाद सभी अधिवक्ता एकत्रित होकर सेशन जज से भी मिले। सेशन जज ने इस मामले में जल्द कार्रवाई करने का आश्वासन दिया। मामले की पूरी जानकारी पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय को दी गई है। जिला बार एसोसिशन के पूर्व प्रधान मनीष वशिष्ठ सुबह अपने चैंबर में थे। उनके पास एक महिला का केस था, जो उसके पति के खिलाफ था।

सैशन जज से भी मिले अधिवक्ता

इसी को लेकर मनीष वशिष्ठ चैंबर के बाहर खड़े थे। इस दौरान महिला का पति घाटासेर निवासी आया और जिला बार के पूर्व प्रधान एडवोकेट मनीष वशिष्ठ को उसकी पत्नी का केस नहीं लड़ने को कहा। इस पर मनीष ने कहा कि यह केस उसकी पत्नी का है, उसका नहीं। इस पर व्यक्ति ने मनीष वशिष्ठ के साथ हाथापाई शुरू की दी। हंगामा होता देखकर आसपास के वकील एकत्रित हो गए और बीच-बचाव किया। सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंच गई और व्यक्ति को हिरासत में ले लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

वकील इकट्ठा होने के बाद उन्होंने वहां पर हंगामा शुरू कर दिया तथा इस मामले में पुलिस प्रशासन से सख्त कदम उठाने की मांग की। इस को देखते हुए कोर्ट परिसर में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात करना पड़ा। मौके पर डीएसपी जितेंद्र भी पहुंचे तथा उन्होंने पूरे मामले को संभाला। इसके बाद वकीलों ने बार रूम में बैठक शुरू कर दी। बैठक में वकीलों पर बढ़ रहे हमलों को लेकर चिंता व्यक्त की गई और प्रशासन तथा सरकार से सख्त कदम उठाने की मांग की गई।

रविवार को भी एक क्लाइंट ने वरिष्ठ अधिवक्ता को दी थी धमकी

अभी 2 दिन पहले ही वरिष्ठ अधिवक्ता और उनके जूनियर को भी उनके ही क्लाइंट द्वारा धमकियां और अशोभनीय गालियां दी गई थी। जिसका मामला दोनों अधिवक्ताओं की शिकायत पर महावीर पुलिस चौकी में दर्ज करवाया गया था। पुलिस ने अधिवक्ताओं के बयान पर आरोपी क्लाइंट के खिलाफ मामला दर्ज किया। जिसमें आरोपी गांव सिलारपुर अटेली थाना निवासी ओमप्रकाश किसी केस के सिलसिले में मार्च महीने में शहर के वरिष्ठ अधिवक्ता राकेश मेहता के पास आया था ।‌राकेश मेहता ने केस की स्टडी कर 17 मार्च को न्यायालय में उसकी दीवानी अपील दायर कर दी । इस मामले में अदालत ने विरोधी पक्ष को आगामी 2 मई को दरख्वास्त बंदी का नोटिस देने का आदेश दिए थे। परंतु क्लाइंट के आग्रह पर अधिवक्ता राकेश मेहता ने मुकदमे में तत्कालिक परिस्थितियों को देखते हुए जल्द सुनवाई के लिए 10 अप्रैल को अदालत में दरखास थी। इस पर न्यायालय ने कानूनी प्रक्रिया के अनुसार सुनवाई कर आदेश जारी किया तथा उसके लिए 17 व 24 अप्रैल की तारीख मुकर्रर के लिए दूसरे पक्षकार को नोटिस देने के लिए निश्चित किया गया।

परंतु 24 अप्रैल की पेशी से पहले गत रविवार देर रात क्लाइंट ओमप्रकाश अधिवक्ता राकेश मेहता के घर आया रात लगभग 1बजे बार-बार घर की डोर बेल बजाई। डोर बेल की आवाज सुनकर जब अधिवक्ता ने दरवाजा खोला तो देखा ओमप्रकाश नशे की हालत में दरवाजे पर खड़ा गालियां दे रहा था। नशे की हालत में होने के कारण अधिवक्ता राकेश मेहता ने उसे समझाया तथा सुबह आकर बात करने को कहा । परंतु क्लाइंट वहां से जाने की वजह अंदर घुस आया और उनको गालियां देता रहा।
इस पर वरिष्ठ अधिवक्ता ने पुलिस बुलाने की बात कही तो क्लाइंट वहां से चला गया। इसके बाद सोमवार सुबह क्लाइंट ने राकेश मेहता के साथ प्रैक्टिस कर रहे जूनियर अधिवक्ता विकास शर्मा के फोन पर कॉल की। अधिवक्ता अदालत में होने के कारण उसकी कॉल रिसीव नहीं की। इसके बाद क्लाइंट विकास शर्मा के मोबाइल पर बार-बार कॉल करता रहा। इस पर विकास शर्मा ने कॉल रिसीव कर ली। फोन उठाने पर क्लाइंट ने अधिवक्ता को अपराधिक प्रवृत्ति वाले लोगों से जान से मरवाने की धमकी दी।

इसके बाद दोनों अधिवक्ताओं ने क्लाइंट ओमप्रकाश से अपनी जान को खतरा बताते हुए पुलिस को शिकायत दी। शिकायत मिलने पर पुलिस ने इस संदर्भ में ओमप्रकाश के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच पड़ताल शुरू कर दी है।

पुलिस को दी शिकायत में नारनौल कोर्ट के वकील विकास शर्मा ने बताया कि वह शहर के वरिष्ठ अधिवक्ता राकेश मेहता के साथ प्रैक्टिस करते हैं। मार्च महीने में गांव सिलारपुर थाना अटेली निवासी ओमप्रकाश एक केस के सिलसिले में राकेश मेहता के पास आया था।

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