अंबाला। अरिहंत फाउंडेशन के संयोजक स्वामी डॉ. राजेश्वरानंद महाराज ने कहा कि धरती को बचाना है तो वृक्ष लगाने होंगे। उन्होंने कहा कि 4 जुलाई से अंबाला की धरती पर वृक्ष लगाने का पेड़ पौधे लगाने और जड़ी-बूटियों को लगाने का अभियान शुरू कर चुके हैं। इसी कड़ी के तहत डॉ. राजेश्वरानंद जी महाराज ने कहा कि बताया कि इसी कड़ी में 11 जुलाई को मेगा पौधारोपण कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है। इसी कड़ी में 11 तारीख को गवर्मेंट सीनियर सेकेंडरी स्कूल पुलिस लाइन में मैन प्रोग्राम होगा। उन्होंने बताया कि 11 जुलाई से लेकर 13 जुलाई तक आयोजित किए जाने वाले कार्यक्रम में 28 हजार पौधे लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।

अरिहंत फाउंडेशन के संयोजक स्वामी डॉ. राजेश्वरानंद महाराज ने कहा कि हमारी फाउंडेशन ने हरियाणा पंजाब में 1 करोड़ पौधे लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया हुआ है। उन्होंने कहा कि इ सी कड़ी के तहत अंबाला में एक लाख पौधे लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। उन्होंने बताया कि लोगों को आयुर्वेद व लगाए जाने वाले पौधों के बारे में जागरूक किया जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा कि जो व्यक्ति एक साल तक पौधे ही सही देखभाल करता है और पौधा अच्छा होता है तो उसे फाउंडेशन की तरफ से 2100 रुपए का नकद इनाम के साथ साथ गिफ्ट दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि हमारी फाउंडेशन लोगों को पौधे लगाने के साथ साथ उनके फायदे भी बताएगी और बकायदा लगाए गए पौधों की देख रेख के लिए युवाओं की टीम रखी जाएगी और हर 15 दिन के अंदर जाकर पौधों को देखगी, ताकि अधिक से अधिक पौधे लगाए जा सके।

अरिहंत फाउंडरेशन के प्रवक्ता देवेंद्र वर्मा ने कहा कि स्वामी राजेश्वरानंद जी महाराज लोगों को पेड़ पौधे एवम जड़ी बुटियां क्यों  लगा रहे हैं के बारे में जागरूक करने में लगे हैं, ताकि हमारे  समाज में उन जड़ी बूटियों के बारे में पेड़ पौधों के बारे में  जागृति पैदा हो उनसे प्यार पैदा हो और सके। हम इस धरती माता से प्रतिवर्ष 15 मिलीयन पेड़ पौधे वा जड़ी बूटियों को कम करते जा रहे हैं  उनको काटते जा रहे हैं। उनकी संख्या को बढ़ाने के लिए ही हम ये अभियान चला रहे हैं।  देखिए  हमारे ऋषि-मुनियों ने हमें दिव्य जड़ी बूटियां दी है उनका हमें ज्ञान ही नहीं है। जैसे कि पुनर्नवा है जिसका भाव है कि वो दोबारा से हमें नया कर  सकती है क्या  किसी ने आपको इसकी जानकारी दी है नहीं दी। अश्वगंधा है जो आपको घोड़े के तुल्य शक्ति परदान करती है उसकी जानकारी हमें नहीं है। अर्जुन का पेड़ है जो आपकी नाड़ियों हार्ट को आज भी नया बना सकते हैं लेकिन उनके बारे में हमें जानकारी नहीं है लेकिन हम उनको भी काटते जा रहे हैं। हमारे पास पीपल, बरगद जैसी आज भी ऐसी असंख्य औषधियां हैं। हमारे पास ब्रह्मी है और अगर हम तनाव में रहते हैं तो हम अपने मन को ब्रह्मी के साथ जोड़कर तनावमुक्त और आनंदित रह सकते हैं।

 अरिहंत फाउंडेशन के संयोजक स्वामी डॉ. राजेश्वरानंद महाराज ने कहा कि अशोक का पेड़ है  जहां पर कभी कोई शोक नहीं आता है अगर हम अपने चारों ओर अशोक के पेड़ लगाएं तो हम आनन्द में रह सकते हैं। लेकिन इन सभी पेड़ पौधों व जड़ी बूटियों को हम लगातार काट कर समाप्त करते जा रहे हैं। आओ आज एक बार फिर  हम सभी लोग मिल बैठकर इन पेड़ पौधों व दिव्य जड़ी बूटियों इत्यादि के बारे में पूर्ण रूप से जानकारी लें न केवल जानकारी ही लें बल्कि अपने जीवन में इन पेड़ पौधों से सन्देश भी बढ़ाएं और इनको अपने जीवन का अभिन्न अंग बनाएं और सदैव इनकी सेवा व देख रैख में अपनी रुचि बढ़ाएं ताकि हमारा जीवन भी धन्य हो सके। आओ आज हम फिर से से धरती माता को पेड़ पौधों और जड़ी बूटियों से लबालब भर दें ताकि धरती माता हमें हरी भरी होकर खुश होकर और दिलखुश होकर ये जो सारी दिव्य औषधियां हैं हमें प्रदान करें व मानव मात्र सभी दुखों से दुर हो जाएं। इस अवसर पर प्रवक्ता देवेंद्र वर्मा, डॉ. सुनील गर्ग, अंबिका अग्निहोत्री, हरपाल सिंह कंबोज, अशोक बूंदी, पार्षद मिथुन वर्मा, राजेश कुमार सहित कई पदाधिकारी मौजूद रहे।

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