गुरुग्राम, 7 मई – अर्बन ऐस्टेट रेज़िडेंट्स वेलफ़ेयर एसोसिएशन सेक्टर 4/7 (उर्वा) की सामुदायिक केंद्र में हुई कार्यकारिणी की मीटिंग के बाद संस्था के अध्यक्ष धर्म सागर ने बताया कि सेक्टर 4 शहर का सबसे पुराना सेक्टर है जो अव्यवस्था के कारण पहले से ही सफाई, पार्कों के रख रखाव, अनधिकृत रेहडियों तथा भूमिगत खुदाई से बने गड्ढों की समस्याओं से परेशान है। इसके साथ पहले से ही हर वर्ष वर्षा के जल भराव की समस्याओं से जूझ रहा सेक्टर, अब सेक्टर की मूल जल बहाव योजना के विपरीत, हुड्डा जिमखाना के सामने वाली सड़क का स्तर ऊंचा होने से आधे से अधिक सेक्टर के घरों में थोड़ी ही वर्षा से पानी का घरों में घुसना सुनिश्चित कर दिया गया है।

सेक्टर 4 के मूल ले आउट मे जल निकासी सिस्टम 60 व 100 फुट की मुख्य सड़को पर ही था और इन सड़कों का स्तर ब्लॉक की 30 फीट की छोटी सड़कों से कम था। सभी बड़ी सड़कों के जल निकासी व्यवस्था को धनवापुर के मुख्य जल निकासी नाले से जोड़ा गया था। इस प्रकार ब्लॉक का पानी बह कर बड़ी सड़कों पर आता और वहां बने जल निकासी साधन से और सड़क के माध्यम से धनवापुर रोड़ तक पहुँचता है। फिर वहां से जल निकासी नाले से होता डिस्पोजल तक जाता है।

60 फीट और 100 फीट पर ब्लॉक की छोटी रोड की अपेक्षा कई बार अधिक रीकार्पिटिगं हुई और साथ इन बड़ी सड़कों पर अधिक मैटीरियल डालने से इनका लेवल पहले से ऊँचा है। जिससे जल बहाव बाधित होता है। यही जलभराव की मूल समस्या है।

संस्था के महासचिव प्रमोद शर्मा ने बताया कि हुड्डा जिमखाना क्लब के सामने बनने वाली रोड का स्तर ब्लॉक और अपने मूल लेवल से और ऊंचा होने के कारण से, आसपास के घरों तथा नज़दीकी ब्लॉक के घरों के बीच के मकानो का जल बहाव बाधित होगा तथा निश्चित रूप से घरो मे पानी भरेगा। इसका मुख्य कारण इस सड़क को बनाते समय सड़क की खुदाई ठीक से ना हो पाने के कारण नई सड़क की ऊँचाई 8-10 इंच बढ़ गई है यही समस्या का मुख्य कारण है। इस सड़क निर्माण योजना से सेक्टर वासी ख़ासे परेशान है।परंतु ना तो निगम अधिकारी ना ठेकेदार और ना ही पार्षद इस विषय को गम्भीरता से ले रहे है।

निगम के सम्बंधित अधिकारियों व ठेकेदार को समय रहते इस सडक़ निर्माण में, सेक्टर के मूल जल बहाव योजना के अनुसार सुधार करने की आवश्यकता है। इस नवनिर्मित सड़क का लेवल ब्लॉक की छोटी सड़कों से नीचा किया जाना चाहिए। अन्यथा अब तक सेक्टर के कुछ ब्लॉक में ही पानी घरों में जाता था परंतु अब इसके चलते आधे सेक्टर के घरों में पानी जायेगा। इस बार जलभराव की स्थिति बिना किसी योजना व निकासी के बन रहे नाले के कारण वैसे ही बहुत भयावह लग रही है जी टी पूरी तरह से मिट्टी से अटी पड़ी है। आधा अधूरा नालें में मिट्टी भरी पड़ी है तथा वर्षा जल संचय के लिए बनाए गए हार्वेस्टिंग सालो से निष्क्रिय पड़े है जिसकी हर वर्ष लाखों रूपया खर्च करके नाममात्र की ऊपर की मिट्टी हटा कर सफ़ाई होती है जिसक कोई फ़ायदा नहीं है।इसके साथ ही सड़क के नीचे आने वाली और पुरानी हो चुकी पीने के पानी पाइप लाइन को स्थानीय लोगों से मिलकर बदलना चाहिए क्यूँकि एक बार सड़क बनने के बाद यह सम्भव नहीं होगा।

उन्होंने कहा कि कुल मिलाकर कर इस बार बारिशों में सेक्टर 4 के लोगों के लिए पिछले चार वर्षों से चल रही जलभराव की समस्या अनियोजित कार्यों के चलते पहले से भी अधिक जटिल व परेशान करने वाली होगी।इस विषय में उर्वा सेक्टर 4/7 की ओर से निरंतर निगम आयुक्त व अन्य उच्च अधिकारियों को पत्रों के माध्यम से जानकारी दे कर तुरंत इसके समाधान के कहा गया है।

इस अवसर पर श्री सुखबीर सिंह, रमेश सिंघल, धीरज सेठी, आर के शर्मा, आर ऐ मित्तल, आर के गोयल, योगेश जोशी, योगिता कटारिया, रोहित धीमन, एस के शर्मा, राजन चड्डा, ओ पी कुकरेजा, लालचंद गोयल इत्यादि मौजूद रहे।

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