” मौका आया हाथ, चलो सरकार के साथ”।। इस जोर -जुल्म की टक्कर में, ऐलनाबाद का विकास हमारा नारा है:–सुभाष बराला।। ऐलनाबाद का ये उपचुनाव इसलिए हो रहा है, क्योंकि एक व्यक्ति ने पहले अपने राजनीतिक लाभ के लिए किसानों का हवाला देकर इस्तीफा दे दिया और फिर उपचुनाव में खुद ही चुनाव भी लड़ रहे हैं।। जबकि कृषि कानूनों पर माननीय सुप्रीम कोर्ट की पहले से ही रोक है। तो दरअसल ये लड़ाई किसानों के लिए नहीं लड़ रहे थे, वो लड़ाई अपने परिवार के अंदर की विरासत की लड़ रहे हैं।। कृषि कानूनों के बहाने, किसानों का नाम लेकर और इस्तीफे का राजनीतिक खेल खेलकर दरअसल वे अपने परिवार की विरासत को दोबारा हासिल करना चाहते हैं। लेकिन इन सब के बीच ऐलनाबाद की जनता को और देश प्रदेश की सरकार को एक और उपचुनाव से गुजरना पड़ रहा है। लेकिन भारतीय जनता पार्टी हर राजनीतिक बदलाव को एक अवसर में तब्दील करना जानती है। ये चुनाव अभय चौटाला के लिए चुनौती है लेकिन भारतीय जनता पार्टी के लिए सुनहरा अवसर है।। मैं तो ये कहता हूं कि भाजपा से ज्यादा तो ये अवसर ऐलनाबाद की जनता के लिए है।। 17 वर्षों से विपक्ष में बैठे ऐलनाबाद के लोगों के पास एक मौका हाथ आया है, कि सरकार के साथ चलो, भाजपा के साथ चलो और विकास के मीठा फल का स्वाद लो।। इस उपचुनाव से सरकार की सेहत पर या हरियाणा की सियासत पर कोई फर्क नहीं पड़ने जा रहा है, अगर फर्क पड़ना है तो सिर्फ और सिर्फ ऐलनाबाद की जनता पर और उनके विकास कार्यों पर।। लगातार विपक्ष और बहकावे की राजनीति की वजह से ऐलनाबाद पिछड़ गया है।। अब ऐलनाबाद के पास मौका है।। सरकार के साथ चलने का और विकास के नक्शे पर उभरने का।। Post navigation उम्मीदवार गोबिंद कांडा और उसके समर्थकों को गुरुद्वारा से बाहर निकालना निंदनीय:-अजय चौटाला ऐलनाबाद के किशनपुरा में पेयजल और सिंचाई के पानी को लेकर 3 महीने से चल रहा धरना हुआ समाप्त।।