2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने की भाजपा एवं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी सफ़ेद झूठ साबित हुई। एमएसपी की गारंटी का क़ानून बनाने की भाजपा एवं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी सफ़ेद झूठ साबित हुई। सरकार ने एमएसपी की गारंटी का क़ानून नहीं बनाया तो पूरे देश में होगा बड़ा आंदोलन किसानों की माँगे नहीं मानी गई तो पूरे देश का किसान-मज़दूर सरकार को वोट की चोट से सबक़ सिखाएगा। गुरुग्राम, 14 मार्च, 2024 – संयुक्त किसान मोर्चा के आह्वान पर दिल्ली के रामलीला मैदान में किसान-मजदूर महापंचायत का आयोजन किया गया।संयुक्त किसान मोर्चा गुरुग्राम के अध्यक्ष एवं जिला बार एसोसिएशन गुरुग्राम के पूर्व प्रधान चौधरी संतोख सिंह ने बताया कि किसान-मज़दूर महापंचायत में देश के कोने- कोने से हज़ारों की संख्या में किसान-मज़दूर शामिल हुए। उन्होंने बताया कि गुरुग्राम से भी संयुक्त किसान मोर्चा एवं ट्रेड यूनियन के सदस्यगण बसों में बैठकर तथा मेट्रो ट्रेन एवं अपनी व्यक्तिगत गाड़ियों से सैकड़ों की संख्या में दिल्ली के रामलीला मैदान में किसान-मज़दूर महापंचायत में शामिल हुए। चौधरी संतोख सिंह ने कहा कि पिछले दस वर्षों में भाजपा एवं मोदी की गारंटियाँ सफ़ेद झूठ साबित हुई हैं।किसानों की मुख्य मांग एमएसपी @ सी 2+50% का वादा भाजपा और वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2014 के चुनावी घोषणा पत्र में किया था और 10 साल बाद भी इस वादे पर अमल नहीं हुआ। इसी तरह भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने की गारंटी दी थी। 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने का झूठा वादा करने वाली सरकार किसानों की आय तो नहीं बढ़ा पाई लेकिन किसानों की फ़सल की लागत और कर्ज़ दोगुना कर दिया।महंगी खाद, महंगे बीज, महंगी सिंचाई, महंगी बिजली के कारण आसमान छूती कृषि लागत के बीच किसान एमएसपी तक के लिए संघर्ष कर रहा है दुसरी तरफ़ मोदी सरकार ने 10 सालों में उद्योगपतियों का ₹12 लाख करोड़ से ज़्यादा का कर्ज़ माफ कर दिया है। 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने की भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी सफ़ेद झूठ साबित हुई।उन्होंने कहा कि किसान आँधी-बारिश एवं भारी ओलावृष्टि से फ़सल ख़राबे के मुआवज़े के लिए दर-दर की ठोकरें खा रहा है दूसरी तरफ़ प्राइवेट बीमा कंपनियों ने पिछले सात सालों में 60,000 हज़ार करोड़ का मुनाफ़ा कमा लिया। प्रधानमंत्री फ़सल बीमा योजना में अनेको त्रुटियों के कारण किसान परेशान हैं तथा प्राइवेट बीमा कम्पनियां चाँदी काट रही है।उन्होंने कहा कि यदि सरकार ने एमएसपी की गारंटी का क़ानून नहीं बनाया और किसानों की माँगें पूरी नहीं की गई तो पूरे देश में बड़ा आंदोलन होगा और पूरे देश का किसान-मज़दूर सरकार को वोट की चोट से सबक़ सिखाएगा। दिल्ली के रामलीला मैदान में किसान-मज़दूर महापंचायत में गुरुग्राम से शामिल होने वालों में मुख्य रूप से बलवान सिंह दहिया, नवनीत रोजखेडा, उषा सरोहा, मनीष मक्कड़, स्वर्ण कुमार गुप्ता, सतीश मराठा, अशोक शर्मा,प्रताप लांबा, विनोद राठी, मास्टर हरविंदर शर्मा, आकाशदीप तथा अन्य सैकड़ों व्यक्ति शामिल थे। Post navigation निराश्रित बच्चों को मिलना चाहिए सरकार की योजनाओं का लाभ- प्रवीन जोशी न्यू कॉलोनी में अनाधिकृत निर्माणों पर की गई कार्रवाई