नहीं बढ़ाए गए बिजली के रेट, ज्यों की त्यों रहेंगी बिजली की दरें

एचईआरसी ने 2024-25 के लिए जारी किया टैरिफ ऑर्डर

इलेक्ट्रिसिटी एक्ट, 2003 के सेक्शन 62 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए आयोग ने सुनाया अपना फैसला

नई बिजली दरों के मामले में एचईआरसी ने 8 फरवरी को की थी पब्लिक हियरिंग

एचईआरसी के अध्यक्ष नन्द लाल शर्मा, सदस्य (तकनीकी) नरेश सरदाना और सदस्य (विधि) ने जारी किया नया टैरिफ ऑर्डर

आयोग ने परिचालन दक्षता में सुधार लाने और एग्रीग्रेट ट्रांसमिशन एंड कमर्शियल लॉस (एटीएंडसी) को 12 प्रतिशत से घटाकर 10 प्रतिशत करने का दिया निर्देश

चण्डीगढ, 6 मार्च- हरियाणा विद्युत विनियामक आयोग (एचईआरसी) ने बिजली वितरण निगमों- उत्तर हरियाणा बिजली वितरण निगम (यूएचबीवीएन) और दक्षिण हरियाणा बिजली वितरण निगम (डीएचबीवीएन) द्वारा एचईआरसी में दायर की गई वार्षिक राजस्व आवश्यकता (एआरआर) की पिटीशन पर अपना निर्णय दे दिया है। एचईआरसी ने 78 लाख 57 हजार 142 बिजली उपभोक्ताओं को भारी राहत देते हुए बिजली बिलों में किसी प्रकार की कोई बढ़ोतरी नहीं की है, बिजली दरें ज्यों की त्यों जारी रहेंगी।

उल्लेखनीय है कि एचईआरसी ने इलेक्ट्रिसिटी एक्ट 2003 के सेक्शन 62 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए अपना यह निर्णय दिया है। यह एआरआर ऑर्डर 1 अप्रैल से प्रभावी होगा। इससे पहले गत वर्ष भी एचईआरसी ने अपने एआरआर ऑर्डर में किसी प्रकार की कोई वृद्धि नहीं की थी। एचईआरसी के अध्यक्ष नन्द लाल शर्मा, सदस्य (तकनीकी) नरेश सरदाना, सदस्य (विधि)  मुकेश गर्ग ने अपना इस संबंध में विस्तृत निर्णय सुनाते हुए बिजली वितरण निगमों को निर्देश दिए हैं कि परिचालन दक्षता में सुधार लाएं और एग्रीग्रेट ट्रांसमिशन एंड कॉमर्शियल लॉस (एटीएंडसी) को 12 प्रतिशत से घटाकर 10 प्रतिशत करें।         

एचईआरसी ने एआरआर ऑर्डर को लेकर 8 फरवरी को पब्लिक हियरिंग की थी, जिसमें यूएचबीवीएन/डीएचबीवीएन के अधिकारियों और पब्लिक की दलीलें सुनी गई थी, उसके बाद 9 फरवरी को राज्य सलाहकार समिति (एसएसी)की बैठक करके नए एआरआर आर्डर के संबंध में एसएसी के सदस्यों के सुझावों को दर्ज किया गया था। एआरआर ऑर्डर 2024-25 के लिए  यूएचबीवीएन और डीएचबीवीएन ने 30 नवंबर 2023 से पहले एआरआर पिटीशन दायर कर दी थी, उसके बाद इनकी पिटीशन पर विश£ेषण का कार्य जारी था। एचईआरसी ने नया वित्त वर्ष शुरू होने से पहले अपना एआरआर ऑर्डर जारी कर दिया है।         

वित्त वर्ष 2024-25 के लिए जहां यूएचबीवीएन के लिए 18,620.91 करोड़ रुपए का एआरआर और डीएचबीवीएन के लिए 25,642.36 करोड़ रुपए स्वीकृत किए गए हैं। कृषि के लिए राज्य सरकार 5941.17 करोड़ रुपए सब्सिडी देगी, गत वर्ष से इस बार सब्सिडी पर सरकार का करीब 109 करोड़ रुपए का भार कम होगा। वहीं, हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए आयोग ने हरित ऊर्जा प्रीमियम को सामान्य टैरिफ से 2.50 रुपये प्रति किलोवाट से घटाकर 0.88 रुपए प्रति किलोवाट किया है। इसके अतिरिक्त, औद्योगिक उपभोक्ताओं को अनुपालन मीटर के साथ लचीलापन प्रदान करने के लिए, आयोग ने रात का समय / दिन का रियायती टैरिफ रुपये तक जारी रखा है, 11/33 केवी पर आपूर्ति के लिए 4.25/केवीएच और एचटी 66 केवी और उससे ऊपर की आपूर्ति के लिए 3.75 रुपये/केवीएच निर्धारित किया है। हरियाणा में इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) चार्जिंग स्टेशनों को रियायती टैरिफ की भी अनुमति दी है।      

इसके साथ ही उपभोक्ता संबंधी मुद्दों के समाधान के लिए आयोग ने कई वैधानिक निर्देश जारी किए हैं। इसमें डिस्कॉम्स को उपभोक्ता शिकायत निवारण फोरम और विद्युत लोकपाल द्वारा पारित आदेशों को सावधानीपूर्वक लागू करने के निर्देश शामिल हैं। डिस्कॉम्स को यह सुनिश्चित करना होगा कि उपभोक्ताओं को उनके अग्रिम उपभोग जमा (एसीडी) पर ब्याज का भुगतान संबंधित माह के लिए उनके बिजली  बिलों यानी अप्रैल/मई माह में जारी किए गए बिलों में विधिवत रूप से दर्शाया जाए। आयोग ने फिर से डिस्कॉम्स को वित्त वर्ष 2023-24 में सभी शहरी फीडरों के एटीएंडसी घाटे को 25 प्रतिशत से कम और ग्रामीण फीडरों के नुकसान को 50 प्रतिशत से कम करने का निर्देश दिया है।

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