एसवाईएल पानी का धर्मयुद्ध यात्रा को दिल्ली पुलिस ने टिकरी बॉडर पर रोका 4 जनवरी को सुप्रीमकोर्ट में होनी है एसवाईएल मामले पर सुनवाई रौनक शर्मा झज्जर – जयहिंद सेना प्रमुख नवीन जयहिंद महम चौबीसी के ऐतिहासिक चबुतरे से अपने चार साथियो के साथ एसवाईएल पानी का धर्मयुद्ध यात्रा की शुरुआत की और बुधवार को यह यात्रा सांपला, बहादुरगढ़ से होते हुई सुप्रीम कोर्ट को गाय व भैंस का देसी घी गिफ्ट करने जा रही यात्रा को टिकरी बोर्डर पर दिल्ली पुलिस के द्वारा रोक लिया गया । जयहिन्द जैसे-जैसे आगे बढे उनके साथ सैकड़ो लोग यात्रा में शामिल होने लगे व हर गांव में उन्हें लोगो का प्यार व समर्थन मिला। साथ ही गांव के लोगो ने यात्रा में देसी घी भी भेंट किया। यात्रा महम के चबूतरे से शुरू होकर गांव खरखड़ा, मदीना, बहु अकबरपुर, गद्दी खेड़ी होते हुए रोहतक पहुंची थी और आगे दिल्ली सुप्रीम कोर्ट तक का सफर यहीं रोहतक से कल शुरू किया | साथ ही माननीय कोर्ट से अपील करेंगे कि वे एसवाईएल नहर पर कोर्ट के निर्णय को लागू करवाया जाए। जयहिन्द ने 7027-822-822 नंबर जारी करते हुए बताया कि जो भी साथी यात्रा से जुड़ना चाहता है वह इस नंबर पर मिस्ड कॉल करे, उनका यात्रा में स्वागत है। जयहिंद ने कहा कि महम से लेकर सांपला, बहादुरगढ़ के लोग अब उनके पास पानी की समस्याएं लेकर पहुंचे | दुसरे दिन इस यात्रा में प्रदेश भर से लोग इनकी इस यात्रा को समर्थन करने पहुँच रहे है और तन-मन-धन से उनका सहयोग कर रहे है | जयहिन्द ने घोषणा करते हुए कहा कि हम मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल व भगवंत मान को 1-1 लाख रुपये का ईनाम देंगे अगर वे यह बयान दे कि SYL नहर का निर्माण व सुप्रीम कोर्ट का फैसला लागू होगा। और उनकी पार्टी के जो छोटे नेता है अगर वे कहते है तो उनके लिए 11 हजार का ईनाम देगे SYL के पानी को लेकर हरियाणा और पंजाब के मुख्यमंत्रियों व कैबिनेट मंत्री की मीटिंग हुई थी। जिसमे भगवंत मान जी ने साफ इंकार कर दिया कि उनके पास हरियाणा को पानी देने के लिए पानी नही है। जबकि गौर करने योग्य बात यह है कि पंजाब से पाकिस्तान पानी जा रहा है तो हरियाणा क्यों नही आ रहा? जबकि हरियाणा पंजाब का छोटा भाई कहा जाता है। जयहिन्द का कहना है कि हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर साहब को हरियाणावासियो के लिए SYL नहर पर सुनवाई के समय सुप्रीम कोर्ट में खड़े रहना चाहिए। ताकि निर्णय जल्द लागू हो सके। अब यह राजनीतिक लड़ाई नही बल्कि न्याययिक लड़ाई है। और जो नेता या अभिनेता हरियाणा के हक़ में सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लागू करवाने की आवाज नही उठा रहा सब गद्दार है। Post navigation भारत में वर्ष 2047 तक अमेरिका को पीछे छोड़ने की क्षमता : धनखड वैद्य मोहबत सिंह के 87 वें जन्म दिन पर गांव ढ़ाकला को मिली ई-लाईब्रेरी व पुस्तकालय की सौगात