फरीदाबाद, 10 जुलाई 2023 – विधायक नीरज शर्मा ने हार्डवेयर-प्याली पेरिफैरी रोड घोटाले पर बोलते हुए कहा कि इस सडक की फाईल वर्ष 2017 बनी, वर्क आर्डर भी 2017 में हुआ तथा काम भी वर्ष 2017 में शुरू हो गया। लेकिन वर्ष 2018 में सांसद कृष्णपाल गुर्जर की अध्यक्षता में मीटिंग हुई जिसमें फरीदाबाद के सभी विधायक मोजूद थे तथा नगर निगम फरीदाबाद के अधिकरी सम्मिलित थे। विधायक नीरज शर्मा का कहना था कि इस मीटिंग का उद्धेश्य सिर्फ धोटाले का अंजाम देना था क्योकि जब मुख्यमंत्री धोषणा वर्ष 2017 में हुई और तभी से काम शुरू हो गया था तो उसके बाद क्यो आर.एम.सी का किया गया। जबकि इस सडक पर ब्रिज बनने थे, साईकिल ट्रैक बनना था तथा ब्यूटिफिकेशन होना था उसका क्या हुआ किसी को नही पता।

विधायक नीरज शर्मा का कहना था कि जब मै विधायक बना तो मुझे इस पूर्ण मामले का ज्ञान हुआ तो तभी से मै इस मामले के पीछे लगा पडा हूँ क्योकि यह पैसा जनता का है। इस धोटाले की जांच 2020 से चल रही है लेकिन विजिलेंस विभाग दस्तावेज मांग रहे थे लेकिन कोई दस्तावेज उपलब्ध नही करवाए जा रहे थंे।

विधायक नीरज शर्मा ने बताया कि इस मामले को मैने कई बार विधानसभा में उठाया लेकिन वहंा मेरी बात को दबा दिया गया क्योकि भाजपा के विधायक विधानसभा में छती ठोक कर कहते है कि अगर इस सडक पर कोई धोटाला हुआ है तो वह जिम्मेदार है।

विधायक नीरज शर्मा ने बताया कि जब सरकार इस घोटाले को दबाने की कोशिश कर रही थी तो उनके द्धारा इस मामले को लेकर माननीय उच्च न्यायालय का दरवाजा खटकाया गया जिसमे केस नंबर सी डब्लू पी 22268 ऑफ 2022 लंबित है जिसकी अगली तारीख 11 जुलाई 2023 है। जिसमें राज्य चौकसी ब्यौरो ने जो अपनी रिपोर्ट माननीय उच्च न्यायालय में जमा की उसमें सरकार ने माना की आर.एम.सी का काम वर्ष 2017 में ही शुरू हो गया था, वर्ष 2017 में ही एम.बी भरी गई और आर.एम.सी की पैमेंट की गई। सरकार ने माना की 16 करोड रू का घोटाला हुआ है। जबकि विधानसभा में भाजपा के विधायक, मंत्री कहते है कि अगर धोटाला हुआ है तो हम जिम्मेदार है। विधायक नीरज शर्मा ने कहा कि क्या भाजपा के सांसद, विधायक, मंत्री को नही पता था कि मौके पर काम आर.एम.सी का चल रहा है। 23 फरवरी 2018 को मीटिंग सिर्फ धोटाले को अजांम देने के लिए की गई।

विधायक नीरज शर्मा ने पत्रकारो से बातचीत करते हुए कहा कि चाहे पैरीफरी रोड का मामला हो, चाहे नगर निगम फरीदाबाद में बिना काम के 200 करोड रू का मामला हो या चाहे रेल की पटरी खाने का मामला हो या जो अन्य धोटाले है किसी में भी नीरज शर्मा किसी भष्टाचारी को छोडेगा नही।

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