मुख्यमंत्री मनोहर लाल कल से हिसार के दो दिवसीय दौरे पर अंग्रेजों की बर्बरता का गवाह रहे रोहनात गांव पर नाटक मंचन ‘दास्तान ए रोहनात’ देखेंगे चण्डीगढ़, 25 मार्च – हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल सरकार द्वारा मनाए जा रहे 75वें अमृत महोत्सव कार्यक्रमों की कड़ी में कल हिसार जिले को करोड़ों रुपये की सौगात देंगे तथा अंग्रेजों की बर्बरता के गवाह रोहनात गांव पर नाटक मंचन ‘दास्तान-ए-रोहनात’ देखेंगे । इसके अलावा एक और गांव मंगाली का दौरा भी करेंगे। एक सरकारी प्रवक्ता ने आज यहां इस सम्बन्ध में जानकारी देते हुए बताया कि मुख्यमंत्री, चौधरी चरण सिंह, हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय परिसर में डॉ. मंगल सेन कृषि विज्ञान संग्रहालय, मदन लाल ढींगरा, बहुउद्देशीय हॉल तथा कॉम्बेट हॉल तथा सादलपुर नवनिर्मित 33 के.बी. सब-स्टेशन का उद्घाटन करेंगे। प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री इसके अलावा इंदिरा गांधी सभागार से बीड़ में बनाए जा रहे बाल सुधारगृह के समेकित परिसर, लघु सचिवालय परिसर बनाए जा रहे 4000 यूनिट के इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन व वी.वी. पेट वेयरहाउस तथा लाला लाजपत राय पशु चिकित्सा विज्ञान विश्वविद्यालय में स्थापित किए जा रहे 33 के.बी. सब-स्टेशन की आधारशिला भी रखेंगे। बाद में मुख्यमंत्री अंग्रेजो की बर्बरता के गवाह रहे रोहनात गांव पर नाटक मंचन ‘दास्तान ए रोहनात’ देखेंगे। अगले दिन मुख्यमंत्री जिले के गांव गंगवा व मंगाली का दौरा भी करेंगे। उल्लेखनीय है कि 15 अगस्त, 2017 को स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री ने महावीर स्टेडियम में आयोजित राज्य स्तरीय समारोह में तिरंगा फहराया था उस समय मुख्यमंत्री को भिवानी जिले के रोहनात गांव जो अंग्रेजो की बर्बरता का शिकार रहा था के बारे जानकारी दी थी। उसी दिन मुख्यमंत्री ने रोहनात फ्रीडम ट्रस्ट के गठन की घोषणा की थी ताकि पहले की सरकारों में अनदेखी का शिकार रहे रोहनात गांव का विकास करवाया जा सके। मुख्यमंत्री की इस घोषणा का परिणाम यह रहा कि रोहनात गांव के लोगों ने देश के आजादी के 70 वर्षों तक गांव में तिरंगा न फहराने की अपनी उस कसम को तोड़ दिया। 23 मार्च, 2018 को ‘शहीदी दिवस’ के अवसर पर मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल को रोहनात गांव विशेष रूप से आमंत्रित कर तिरंगा फहरवाया। Post navigation गृह मंत्री अनिल विज दुबई में आयोजित होने वाले ‘‘ग्लोबल इन्वेस्टर्स ग्रोथ सम्मिट’’ में लेंगें हिस्सा 22 तहसीलों में तैनात तहसीलदार नहीं चाहते अपनी पदोन्नति