जन स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही हेलीमंडी पालिका क्षेत्र में चरम पर.
पेयजल आपूर्ति के पाइप लाइन भी जगह-जगह लीक हो चुके.
मुख्य मार्ग और बाजार में सीवर ओवरफ्लो गदा पानी सड़को पर

फतह सिंह उजाला

पटौदी । पटौदी विधानसभा क्षेत्र के महत्वपूर्ण व्यापारिक हेलीमंडी अनाज मंडी के साथ-साथ हेलीमंडी पालिका क्षेत्र में जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग की लापरवाही और अधिकारियों की कोताही बीते कुछ दिनों से अपने चरम पर है । मामला चाहे पेयजल आपूर्ति के मुख्य पाइप लाइन लीकेज का हो या फिर गंदे पानी की निकासी के लिए बनाए गए सीवरेज का हो । दीपावली पर एक ऐसा पर्व है जिसे की झोपड़ी में रहने वाला हो या फिर महल में रहने वाला , साफ सफाई के साथ मनाता आया है और यह मान्यता भी है की लक्ष्मी का वास वही होता है जहां साफ-सफाई भी हो ।

लेकिन जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग पटौदी के अधिकारियों ने तो शायद ऐसा ठान लिया है कि अपने दफ्तर के बाहर फील्ड में जाकर अपने ही विभाग के कामकाज का निरीक्षण नहीं करना है । हेलीमंडी में पेयजल आपूर्ति के लिए करीब 5 करोड रुपए की लागत से बूस्टर बनाने के साथ-साथ विभिन्न वार्डों में पेयजल आपूर्ति के लिए नए पाइप डाले  गए। विभिन्न वार्डों के निवासी तो अभी भी शिकायत करते रहते हैं कि उनकी गलियों में पेयजल आपूर्ति के और साथ में सीवरेज के भी नए पाइपलाइन नहीं डाले गए है।

एम एल ए स्कूल जाने वाले मुख्य मार्ग पर मुख्य पेयजल आपूर्ति पाइप लाइन बीते कई महीने से लिक होने के कारण हजारों लीटर पीने का पानी बेकार में सड़क पर ही बहता रहता है। हालांकि इसी क्षेत्र में करीब 60 लाख से भी अधिक खर्चा करके सीसी रोड बनाए जा चुके हैं और विभाग के द्वारा पेयजल पाइप लाइन डालने में किस हद तक लापरवाही और कोताही बऱती गई , इस बात की चुगली पेयजल आपूर्ति के पाइप लीक होकर सीसी रोड पर बहने वाला पीने का पानी साफ-साफ बयान कर रहा है । जब पानी की आपूर्ति बंद हो जाती है तो जो भी पानी लीकेज वाले स्थान पर होता है वह वापिस पेयजल आपूर्ति के पाइपों में चला जाता है और फिर जब पानी की आपूर्ति की जाती है तो यही पानी जिस के दूषित होने से कतई भी इनकार नहीं , घरों में इसी पानी की ही आपूर्ति हो रही है । पीने के पानी के पाइप के लीकेज की शिकायतें हेली मंडी के एक नहीं कई स्थानों पर लोगों के द्वारा की जा रही है ।

इसी प्रकार से करीब 8 करोड रुपए की लागत से सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट परियोजना के तहत सीवरेज के नए पाइपलाइन और कनेक्शन भी हेलीमंडी क्षेत्र में किए गए। कई स्थान तो ऐसे हैं जहां प्राथमिकता से नए सीवरेज पाइप लाइन डाले जाने चाहिए थे , लेकिन ऐसे स्थानों की विभाग के द्वारा पूरी तरह से अनदेखी कर दी गई और अब 50 लाख रुपए की लागत से बनाए गए हेलीमंडी के मुख्य बाजार के सड़क मार्ग पर सीवर ओवरफ्लो होकर गंदा पानी स्थानीय दुकानदारों सहित निवासियों के लिए बीमारियों को न्योता दे रहा है । त्योहारी सीजन के दौरान भी यहां पर दूर-दूर तक सीवर ओवरफ्लो का पानी सड़क पर आम आदमी के लिए परेशानी का कारण बना हुआ है । आसपास के दुकानदारों और निवासियों ने तो मजबूरी में सीवर के इस गंदे पानी को रोकने के लिए ईट और मिट्टी से अस्थाई जुगाड़ बनाने के लिए मजबूर होना पड़ गया है । हेली मंडी के ही पार्षद राजेंद्र गुप्ता के मुताबिक सीवरेज ओवरफ्लो होने की शिकायतें कई बार पटौदी के वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी सहित जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग के अधिकारियों को भी की जा चुकी है । वहीं स्थानीय निवासी देवेंद्र हैप्पी जैन का भी आरोप है की जन स्वास्थ्य विभाग के द्वारा ओवरफ्लो सीवर के यहां वहां भरे हुए पानी को रोकने के लिए कोई भी ठोस कार्यवाही नहीं की जा रही। जब भी कभी अधिक दबाव बनाया जाता है तो ओवरफ्लो हो रही सीवर का पानी निकाल कर विभाग के अधिकारी अपना पल्ला झाड़ देते हैं । स्थानीय निवासियों की मांग है कि हेली मंडी क्षेत्र में जहां-जहां भी पेयजल आपूर्ति के पाइप लीक हैं और सीवरेज लाइनें अवरुद्ध हो कर सीवर ओवरफ्लो हो रहे हैं , जल्द से जल्द जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग इस प्रकार की समस्या का समाधान कर लोगों को उनके मूलभूत अधिकार के मुताबिक स्वच्छ वातावरण के साथ-साथ शुद्ध पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित करें।

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