Category: देश

हरियाणा के लोगों को मैट्रो रेल और आरआरटीएस जैसी सुविधाएं देने के लिए डबल इंजन की सरकार लगातार प्रयासरत – मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह

आज नई दिल्ली में केन्द्रीय आवासन एवं शहरी मामले मंत्री श्री मनोहर लाल के साथ मैट्रो रेल के विस्तारीकरण और आरआरटीएस को स्थापित करने के लिए हुई बैठक- श्री नायब…

सत्य के प्रयोग से लेकर विटनेस तक …….

-कमलेश भारतीय यदि आत्मकथा साहित्य की बात करें तो सबसे ज्यादा चर्चित आत्मकथा महात्या गांधी द्वारा लिखित सत्य के प्रयोग ही कही जा सकती है, जिसने पाठकों पर अमिट प्रभाव…

हरियाणा में भाजपा का 50 लाख सदस्य बनाने का लक्ष्य : पंडित मोहन लाल बड़ौली

हरियाणा में 5 नवंबर से चलेगा भाजपा का सदस्यता अभियान सदस्यता अभियान के लिए रोहतक में 26 अक्टूबर को होगी महत्वपूर्ण बैठक कांग्रेस बीमार पार्टी, कांग्रेसी नेताओं के विचार बुढ़ापा…

जल्द ही ऊर्जा, परिवहन और श्रम विभागों की बैठक आयोजित की जाएगी – ऊर्जा, परिवहन और श्रम मंत्री अनिल विज

‘‘सरकार का प्रत्येक विभाग लोगों के लिए है और हर विभाग लोगों पर अप्रत्यक्ष या प्रत्यक्ष रूप से प्रभाव डालता है तथा सभी विभाग महत्वपूर्ण है’’- ऊर्जा, परिवहन और श्रम…

महानायक अमिताभ बच्चन के जन्मदिन पर हुआ हिंदी फ़िल्म “अपना अमिताभ” का ट्रेलर और पोस्टर लॉन्च 

केक काटकर बिग बी का बर्थडे किया गया सेलिब्रेट मुंबई (अनिल बेदाग)मुंबई क्लासिक एंटरटेनमेंट के बैनर तले विकास शर्मा और राघवेंद्र के द्वारा निर्मित और लेखक निर्देशक अजय आनंद की…

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ स्थापना दिवस, विजयादशमी विशेष: संघ का मूल ध्येय, राष्ट्र का परम वैभव 

हेमेन्द्र क्षीरसागर, पत्रकार व लेखक आज जिस राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को विश्व के सबसे बड़े संगठन के रूप में जाना जाता है, उसकी नींव डॉ. केशव बलिराम हेडगेवार ने रखी…

जलते है केवल पुतले, रावण बढ़ते जा रहे ?

दशहरे पर रावण का दहन एक ट्रेंड बन गया है। लोग इससे सबक नहीं लेते। रावण दहन की संख्या बढ़ाने से किसी तरह का फायदा नहीं होगा। लोग इसे मनोरंजन…

ब्रिटिश एयरवेज के साथ यात्रा? समझौते के लिए तैयार रहें

मुंबई (अनिल बेदाग): ग्राहक सेवा की दुनिया में, एक सिद्धांत लंबे समय से चला आ रहा है: “ग्राहक हमेशा सही होता है।” दुर्भाग्य से, ऐसा लगता है कि कुछ कंपनियां…

9 अक्टूबर विश्व डाक दिवस विशेष ……. कहाँ खो गई अपनों की चिट्ठी-पत्री

संचार क्रांति के इस युग में अब नहीं आती कहीं से भी अपनों की चिट्ठी-पत्री। बदलते दौर में घर से जाते समय अब कोई नहीं कहता कि पहुंतें ही चिट्ठी…

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