मैंने पार्टी की बजाय परिवारों को तवज्जो दी

यदि लोकसभा का टिकट नहीं मिला तब भी मैं जजपा उम्मीदवार के साथ रहूंगा

इनेलो की तरफ से कोई ऑफर मिला तो अगले चुनाव में विचार करूंगा

नारनौल। राजनीति में मैं हमेशा पार्टी की अपेक्षा परिवारों से जुड़ा हुआ । कांग्रेस में जुड़ने के बजाय मैं हुड्डा परिवार से जुड़ना बेहतर समझा पर लंबे समय से मेरी अपेक्षा के कारण मैं कांग्रेस और भूपेंद्र सिंह हुड्डा परिवार द्वारा अनदेखा करने पर कांग्रेस छोड़ी है। जजपा हमारा पुराना परिवार है और अब यहां सबसे जूनियर कार्यकर्ता के रूप में काम करूंगा। यह विचार नांगल चौधरी के पूर्व विधायक राव बहादुर सिंह ने यदुवंशी प्रांगण में आयोजित पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुए कही। 

बता दें कि राव बहादुर सिंह महेंद्रगढ़-भिवानी लोकसभा सीट से चुनाव की तैयारी कर रहे थे और कांग्रेस टिकट की उन्हें प्रबल उम्मीदें थी, लेकिन उनका नाम फाइनल नहीं करने से खफा होकर कांग्रेस छोड़ दी।

पूर्व विधायक राव बहादुर सिंह ने कहा कि चौधरी देवीलाल परिवार की बदौलत उनका राजनीति में जन्म हुआ। उन्होंने कहा कि चौधरी देवीलाल परिवार ही ऐसा परिवार है, जो सबको पूरा मान-सम्मान देता है। उन्होंने ढेर सारे नाम गिनाते हुए कहा कि चौधरी देवीलाल ने दक्षिणी हरियाणा के लोगों को न केवल सदैव उभारने का प्रयास किया अपितु दक्षिणी हरियाणा के लिए भी बहुत काम किया। यहां के लोगों को उन्होंने न केवल विधायक बनाया, बल्कि एसएस बोर्ड एवं हरियाणा पब्लिक सर्विस कमिशन का मैंबर बनाया। राव मानसिंह अकेले ऐसे इस क्षेत्र के ऐसे उम्मीदवार हैं, जिनको राज्यसभा में भेजा गया। वरना हमारे हिस्से तो राज्यसभा कभी आई ही नहीं। 

उन्होंने कहा कि वह पूर्व उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला में चौधरी देवीलाल की छवि देखते हैं और दुष्यंत भी उनके पदचिह्नों पर चलते हुए आम कार्यकर्ता को पूरा मान-सम्मान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि जब वह इस परिवार से अलग हुए, तब पारिवारिक मन मुटाव चल रहे थे। इस कारण वह पार्टी छोड़कर चले गए थे, लेकिन वह कांग्रेस में जाकर दुखी हो गए और अब अपने पुराने घर में लौट आए हैं। 

एक प्रश्न के उत्तर में कहा कि इस लोकसभा चुनाव के दौरान में पूरी निष्ठा के साथ जजपा पार्टी के साथ रहूंगा। यदि विधानसभा चुनाव में अभय चौटाला से कोई ऑफर मिला तो उसके बारे में विचार किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि वह जजपा को आम कार्यकर्ता की तरह सींचने का काम करेंगे। चाहे पार्टी उन्हें लोकसभा चुनाव लड़वाए या नहीं लड़वाए। उन्होंने वह दुष्यंत चौटाला की कार्यशैली से प्रभावित होकर जजपा में आए हैं और उन्होंने अपने साढ़े चार साल के कार्यकाल में अनेक अविस्मरणीय ऐतिहासिक कार्य करवाए हैं। अब वह जजपा का सच्चा सिपाही बनकर काम करना चाहते हैं।

इसे पूर्व पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कंवर सिंह कलवाड़ी ने एक प्रश्न का उत्तर देते हुए कहा कि जजपा पार्टी भाजपा की सहयोगी नहीं है। हम उसको किसी प्रकार का कोई लाभ नहीं देना चाह रहे। हम पर यह आरोप मिथ्या है। हमारा गठबंधन हमें पर्याप्त सीटे न मिलने पर टूटा यही सत्य है। 

इस मौके पर जिला अध्यक्ष डा. मनीष शर्मा ने राव बहादुर सिंह द्वारा जजपा ज्वाइन करने पर उनका स्वागत किया और कहा कि इनके आने से पार्टी को मजबूती मिलेगी। अब यह कंधे से कंधा मिलाकर पार्टी हित में काम करेंगे। जिला प्रभारी पूर्व विधायक राजदीप फौगाट ने भी राव बहादुर सिंह का पार्टी में आने पर स्वागत किया और कहा कि पार्टी प्रदेश की सभी दस लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का तैयार है और पार्टी जिसे भी टिकट देगी, सभी कार्यकर्ता मिलकर उसकी जीत के लिए काम करेंगे। उन्होंने बताया कि अब तक सभी दस लोकसभा सीटों की मीटिंगें पूरी हो चुकी हैं। अब शीर्ष नेताओं द्वारा नाम तय किए जाने हैं और पार्टी जिसे भी चुनाव लड़वाएगी, सभी मिलकर काम करेंगे। इनके आने से पार्टी को केवल जिला महेंद्रगढ़ में ही नहीं, अपितु पूरे प्रदेश में फायदा मिलेगा। उन्होंने बताया कि २४ मार्च को नारनौल के रेवाड़ी रोड स्थित निजी फार्म हाउस में प्रात: 11 बजे कार्यकर्ता सम्मेलन आयोजित किया जाएगा, जिसमें होली मिलन समारोह भी मनाया जाएगा।

इस मौके पर जजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष कंवर सिंह कलवाड़ी, प्रदेश उपाध्यक्ष अभिमन्यु राव, एडवोकेट तेजप्रकाश यादव, राव रमेश पालड़ी, सिकंदर गहली, अमर सिंह ब्रह्मचारी, राव सुरेश शास्त्री, उपजिला प्रमुख भीमसिंह गुर्जर, सुविधा शास्त्री, विजयपाल एडवोकेट, सावित्री गुर्जर, संजीव तंवर, हलका अध्यक्ष भोजराज यादव, कुलदीप कलवाड़ी, रविंद्र गागड़वास, बिरेंद्र बनिहाड़ी, रामकुमार मकसूसपुर, हरचंद तोबड़ा, महेंद्र बडेसरा, नगर पार्षद संदीप भांखर, महेंद्र खन्ना, बेदू राता, लक्की सरदार, विजय छिलरो, रोहतास रावत, विरेंद्र घाटासेर, धर्मबीर यादव, केशव वर्मा, विष्णु सरपंच, जसवंत यादव सरपंच, पूर्व सरपंच प्रीत्तम टिल्लू, राजकुमार जांगड़ा, माडूराम, धीरज शर्मा, हरिओम मेई, नरेश मास्टर, सन्नी ततारपुर, बजरंग गुर्जर, दीपक यादव, प्रवीण, सुनील जेवली व सुनील राव समेत अनेक कार्यकर्ता मौजूद थे।

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