चंडीगढ़, 29 फरवरी- हरियाणा के मुख्य निर्वाचन अधिकारी अनुराग अग्रवाल ने विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि भारत चुनाव आयोग किसी भी समय आगामी लोकसभा चुनाव की घोषणा कर सकता है और इसके साथ ही आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगी। श्री अग्रवाल आज यहां अपने कार्यालय में लोकसभा चुनाव को लेकर किए जा रहे प्रबंधों पर विभाग के अधिकारियों की समीक्षा बैठक को संबोधित कर रहे थे। उन्होने कहा कि यदि कोई निर्वाचन रिर्टनिंेग अधिकारी या सहायक किसी मतदाता सूची की तैयारी, पुनरीक्षण या सुधार या उस सूची में या उसमें से किसी भी प्रविष्टि को बिना उचित कारण के शामिल करने या बाहर करने के संबंध में कोई आधिकारिक कर्तव्य निभाने के लिए तैनात किया गया है तो कोई ईईआरओ, एयरो या अन्य व्यक्ति किसी भी कार्य के लिए दोषी होता है ऐसे आधिकारिक कर्तव्य का उल्लंघन करने पर उसे जनप्रतिनिधि अधिनियम 1950 की धारा 32 के तहत उसे 3 महीने तक का कारावास हो सकता है, जिसे 2 साल तक बढ़ाया जा सकता है और जुर्माना भी लगाया जा सकता है। उन्होने कहा कि इस दोष के लिए कोई भी अदालत जनप्रतिनिधि अधिनियम 1950 की धारा 32 के तहत दंडनीय किसी भी अपराध का संज्ञान नहीं लेगी, जब तक कि चुनाव आयोग या राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी के आदेश या उनके अधिकार के तहत शिकायत न की गई हो। उपरोक्त किसी भी कार्य या चूक के संबंध में क्षति के लिए किसी भी अधिकारी या अन्य व्यक्ति के खिलाफ कोई मुकदमा या अन्य कानूनी कार्यवाही नहीं की जाएगी। झूठी घोषणा करना मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि यदि कोई व्यक्ति किसी मतदाता सूची की तैयारी, पुनरीक्षण या सुधार या किसी मतदाता सूची में या उसमें से किसी प्रविष्टि को शामिल करने या बाहर करने के संबंध में लिखित रूप में कोई बयान या घोषणा करता है जो गलत है और जिसके बारे में वह जानता है या विश्वास करता है। झूठ बोलता है या सच नहीं मानता है, तो उसे जनप्रतिनिधि अधिनियम 1950 की धारा 31 के तहत एक साल तक की कैद या जुर्माना या दोनों से दंडित किया जा सकता है। जनप्रतिनिधि अधिनियम 1950 की धारा 31 के तहत, अपराध किसी भी मजिस्ट्रेट द्वारा गैर-संज्ञेय, जमानती अपराध है। पीड़ित व्यक्ति की लिखित शिकायत पर ही मजिस्ट्रेट ऐसे अपराध का संज्ञान लेगा। Post navigation घट रही खेती की जमीन ……… बढ़ रहा किसान पर कर्ज : कुमारी सैलजा 106.90 फीसदी उत्पादकता के साथ संपन्न हुआ बजट सत्र