केयू में राष्ट्रीय शिक्षा नीति की स्मारिका का मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने किया विमोचन।केयू में राष्ट्रीय शिक्षा नीति का मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने किया शुभारंभ। वैद्य पण्डित प्रमोद कौशिक कुरुक्षेत्र 14 अगस्त : हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि आजादी के 75 वर्ष पूर्ण होने पर पूरा देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। भारत आज विश्व में तीसरी बढ़ी आर्थिक शक्ति के रूप में उभरकर आया है। शिक्षा मानव निर्माण का आधार होता है। शिक्षा के साथ केवल भौतिक निर्माण से ही काम नहीं चलता बल्कि मानव शक्ति के रूप में अच्छे नागरिकों का निर्माण कर राष्ट्र आगे जाएगा। वे रविवार को कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के सीनेट हॉल में राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के क्रियान्वयन के अवसर पर बोल रहे थे। उन्होंने कुवि द्वारा लागू की गई राष्ट्रीय शिक्षा नीति की स्मारिका का विमोचन भी किया गया। मीडिया को सम्बोधित करते हुए मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने विद्वतजनों, चिंतकों, शिक्षकों, विद्यार्थियों सहित 2 लाख बुद्धिजीवियों से परामर्श कर लागू करने का निर्णय लिया। राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को वर्ष 2025 तक हरियाणा के सभी विश्वविद्यालय व महाविद्यालयों में लागू करने का निर्णय लिया गया है। उच्च शिक्षा स्थानीय भाषा में होनी चाहिए। स्थानीय भाषा का अपना महत्व है। हमें अपनी पीढिय़ों को सही इतिहास पढ़ाना है।प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आह्वान पर कुरुक्षेत्र में आज विभाजन विभीषिका दिवस मनाया गया है। हमारे देश का शिक्षा के क्षेत्र में पुराना इतिहास है। यहां उच्च कोटि के लेखक है। हमारा लक्ष्य है कि शिक्षा की पहुंच हर व्यक्ति तक हो व सभी को रोजगार मिले। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने कहा कि हमारे देश में दिमाग की कमी नहीं है। हमें हमेशा कुछ न कुछ सीखते रहने चाहिए। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अन्तर्गत तहत् पाठ्यक्रमों में विद्यार्थियों के लिए बहुत संभावनाएं हैं। छात्रों का समग्र विकास व चरित्र निर्माण होना शिक्षा का पहला व अंतिम लक्ष्य है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति का उद्देश्य सभी छात्रों को उच्च शिक्षा प्रदान करना, छात्रों को कला, मानविकी, विज्ञान, खेल और व्यावसायिक विषयों में अध्ययन करने के लिए लचीलेपन और विषयों की पसंद को बढ़ाना है। इसी दिशा में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय का यह प्रयास सराहनीय है। उन्होंने राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने के लिए कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा को बधाई दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने आईआईएचएस संस्थान के नए भवन का उद्घाटन भी किया। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने क्रश हॉल में आजादी के अमृत महोत्सव और हर घर तिरंगा कार्यक्रम के अंतर्गत लगाई गई प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया व इसकी सराहना की तथा क्रश हॉल के बाहर पौधारोपण भी किया। मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने गुरु तेग बहादुर जी के 400 वें प्रकाशोत्सव पर संगीत एवं नृत्य विभाग द्वारा बनाए गए संदेश गीत का लोकार्पण किया। उन्होंने कुवि महिला अध्ययन केन्द्र व कुवि एलुमनाई एसोसिएशन की ओर से निशुल्क सिलाई एवं कढ़ाई प्रशिक्षण केन्द्र का शुभारंभ करके जरूरतमंद महिलाओं को सिलाई मशीन वितरित की। कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. सोमनाथ सचदेवा ने मुख्यमंत्री का स्वागत करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल के मार्गदर्शन में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय हरियाणा प्रदेश व देश में सर्वप्रथम राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 का शुभारंभ करने जा रहा है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति में नैतिक मूल्य आधारित शिक्षा का प्रावधान है। यह शिक्षा नीति भविष्य के भारत को ध्यान में रखकर बनाई गई है और हमारे पाठ्यक्रम भी वैश्विक स्तर के हों, इसका भी ध्यान रखा गया है। भारत की आने वाली पीढिय़ों का सर्वांगीण विकास हो यही राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 का मूल उदेश्य है। उन्होंने बताया कि विश्वविद्यालय में इस सत्र से आधुनिक विषयों के 14 ऑनलाइन कोर्सिज भी शुरू किए जा रहे हैं। इस मौके पर कुरुक्षेत्र के सांसद नायब सैनी, उपायुक्त मुकुल कुमार, एसपी सुरेन्द्र कुमार भौरिया, कुलसचिव डॉ. संजीव शर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष राजकुमार सैनी, डीन एकेडमिक अफेयर प्रो. मंजूला चौधरी, छात्र कल्याण अधिष्ठाता प्रो. अनिल वशिष्ठ, लोक सम्पर्क विभाग के निदेशक प्रो. बृजेश साहनी, प्रो. शुचिस्मिता, प्रो. सुनील ढींगरा, प्रो. पवन शर्मा, प्रो. संजीव गुप्ता, प्रो. अनिता दुआ, प्रो. परमेश कुमार, डॉ. दीपक राय बब्बर, डॉ. महासिंह पूनिया, डॉ. गुरचरण सिंह सहित अधिष्ठाता गण, विभागाध्यक्ष, निदेशक व अधिकारी मौजूद थे। Post navigation विभाजन के शहीदों की याद में कुरुक्षेत्र में बनाया जाएगा शहीदी स्मारक : मनोहर लाल छात्र एन्टरप्रेन्योर द्वारा आत्मनिर्भर बनकर राष्ट्र के निर्माण में दें अहम योगदान : प्रो. सोमनाथ सचदेवा