– नहीं भूल पाएंगे बीते 9 सालों की पीड़ा, भगवान षड्यंत्रकारियों को भी न दिखाए ऐसे दिन – दिग्विजय

– पिता का संघर्ष सदैव रहा हमारे लिए प्रेरणादायक, जनता ने किया न्याय – दिग्विजय चौटाला

चंडीगढ़, 10 फरवरी। जननायक जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. अजय सिंह चौटाला की रिहाई के बाद पार्टी में खुशी का माहौल है। रिहाई पर प्रतिक्रिया जाहिर करते हुए जेजेपी प्रधान दिग्विजय सिंह चौटाला ने भावुक होकर कहा कि “फ्रीडम इज प्राइसलेस”। उन्होंने कहा कि यह सब जगजाहिर है कि एक षड्यंत्र के तहत विरोधियों द्वारा डॉ. अजय सिंह चौटाला को जेल भेजा गया, जिसके कारण हम सबको बड़ी मानसिक यातना बिना किसी गुनाह झेलनी पड़ी लेकिन पिता के संघर्ष ने हमें आगे बढ़ना सिखाया और हम कभी संघर्ष पथ पर पीछे नहीं हटे।

दिग्विजय चौटाला ने भावुक होकर कहा कि वह भूल नहीं सकते है कि जब उनके पिता जी से मिलने के लिए उन्हें जून-जुलाई की तपती धूप के अंदर तिहाड़ जेल के मुख्य द्वार से प्रवेश करके दो तीन किलोमीटर पैदल चलकर जेल नंबर-2 के मुलाकात कक्ष तक जाना होता था और अपने पिता से मुलाकात करके उनके मैले कपड़ों का ढेर अपने कंधे पर लेकर वापस आना होता था। उन्होंने कहा कि इस दौरान उनका मुलाकात कक्ष तक आने-जाने के बीच का समय बेहद कठिन होता था क्योंकि जहां उन्हें एक तरफ बिना किसी गुनाह के सजा काट रहे अपने पिता के सामने कमजोर नहीं दिखना होता था, वहीं दूसरी ओर इन भावनाओं को काबू भी रखना बेहद मुश्किल होता था। उन्होंने कहा कि लेकिन सच तो ये था कि पिता के पास पहुंचने के बाद सलाखों की दूरी देखकर दुख की सीमा नहीं रहती थी इसलिए वापस आते वक्त ये पीड़ादायक भावनाएं बाहर निकल ही जाती थी।

जेजेपी प्रधान महासचिव ने कहा कि ऐसे नाजुक दौर में हमें दोहरी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन जेल के अंदर बैठे हमारे पिता का संघर्ष हर समय हमारे लिए प्रेरणादायक रहा। उन्होंने कहा कि हर मुलाकात के बाद उनकी कही एक-एक बात, उनकी दी गई एक-एक सीख हमारे कानों में गूंजती रहती थी, ऐसे में जब राजनीतिक ही नहीं बल्कि पारिवारिक चुनौतियों का भी हमें सामना करना पड़ा तो पिता जी की कही वहीं बातें, उनकी सीख और कार्यकर्ताओं का प्यार हमारी ताकत बनी। 

दिग्विजय चौटाला ने कहा कि इस करीब 9 साल के लंबे समय के दौरान एक-एक दिन गिनकर आज के दिन का इंतजार करते थे और वो सुखद पल आज आ गया। उन्होंने कहा कि आज हमारी खुशी का कोई ठिकाना नहीं है लेकिन बीते दिनों की पीड़ा को हम सभी कभी भूल नहीं पाएंगे। दिग्विजय ने कहा कि बिना किसी दोष के उनके पिता, परिवार, समर्थकों ने बड़ा कष्ट तो झेल लिया लेकिन हम भगवान से यही प्रार्थना करते है कि हमारे खिलाफ षड्यंत्र रचने वालों को भी कभी ऐसे दिन न देखने पड़े। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में जनता का न्याय सबसे बड़ा होता है और जनता ने षड्यंत्र रचने वालों के साथ हर चुनाव में इसका न्याय किया। दिग्विजय ने ये भी कहा कि हमारे मार्गदर्शक डॉ अजय चौटाला ने यही सिखाया है कि राजनीति में कभी निजी नहीं होना चाहिए बल्कि जन सेवा में समर्पित भाव से आगे बढ़ना चाहिए बाकि जनता अपने आप न्याय कर देती है।

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