मोदी वन और मोदी 2 सरकार में मंत्री बनाए गए राव इंद्रजीत 2019 के मुकाबले 2024 में हरियाणा से भाजपा के पांच ही सांसद राव, धर्मवीर और कृष्णपाल दूसरी और तीसरी बार तथा जिंदल-मनोहर पहली बार सांसद विधानसभा चुनाव को देखते वे राव इंद्रजीत की अनदेखी संभव नहीं फतह सिंह उजाला गुरुग्राम । देश की जनता के द्वारा लोकसभा चुनाव में एनडीए और इंडिया एलाइंस के समर्थन में अपना-अपना जनादेश दिया जा चुका है । इसके साथ ही पीएम मोदी के द्वारा अपना त्यागपत्र राष्ट्रपति को सौंपने तथा लोकसभा भंग किया जाने की प्रक्रिया से गुजरते हुए एनडीए की बैठक में नरेंद्र मोदी को एक बार फिर से नेता चुन लिया गया। इसके साथ ही अब केंद्र में सरकार बनाने की कसरत भी आरंभ हो गई है। कुछ ही समय के बाद में हरियाणा प्रदेश में भी विधानसभा के चुनाव प्रस्तावित है । यह बात किसी से छिपी हुई नहीं है कि हरियाणा में सत्ता की चाबी हमेशा से दक्षिणी हरियाणा से चुने जाने वाले विधायक या अधिकांश विधायक देने वाली पॉलीटिकल पार्टी के पास रही है। बीजेपी की टिकट पर जीत की हैट्रिक बनाने वाले राव इंद्रजीत सिंह का कद दक्षिणी हरियाणा के साथ-साथ हरियाणा की राजनीति में बहुत ऊंचा है । उनका अपना एक अलग ही जनाधार और कैडर भी है । यह बात मंगलवार को हुई मतगणना के बाद साफ हो भी हो गई। जिस प्रकार से केंद्र में एनडीए की मुख्य पॉलीटिकल पार्टी भाजपा के द्वारा विभिन्न पार्टियों के साथ मिलकर चुनाव लड़ा गया और सरकार बनाने की दावेदारी प्रस्तुत की जा रही है । ऐसे में अब दक्षिणी हरियाणा के लोगों और राव इंद्रजीत सिंह के लाखों समर्थकों में जिज्ञासा बनी हुई है कि क्या राव इंद्रजीत सिंह मोदी कैबिनेट में मंत्री बनने की अपनी हैट्रिक बना सकेंगे ? महत्वपूर्ण तथ्य यह भी है कि हरियाणा में भाजपा के द्वारा सरकार बनाने के लिए पर्याप्त विधायक संख्या बल को ध्यान में रखते हुए ही राव इंद्रजीत सिंह को 2014 और 2019 में मंत्री बनाया गया। उस समय हरियाणा में भाजपा के अधिकांश सांसद और 2019 में 10 के 10 सांसद भाजपा के ही रहे। इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए मोदी मंत्रिमंडल में 2019 से 2024 तक के लिए राव इंद्रजीत सिंह और कृष्णपाल गुर्जर को मंत्री बनाया गया। वर्ष 2024 में भाजपा के लिए हरियाणा में चुनाव परिणाम मनपसंद वाले नहीं रहे । 10 में से पांच सांसद ही भाजपा के चुने गए हैं । इनमें भी राव इंद्रजीत सिंह, चौधरी धर्मवीर सिंह और कृष्ण पाल गुर्जर दो और तीन बार संसद का चुनाव जीतने वालों में शामिल है । इसके अतिरिक्त नवीन जिंदल तथा मनोहर लाल खट्टर पहली बार सांसद भाजपा की टिकट पर बने हैं। राजनीतिक गलियारों में ऐसी भी चर्चा चली हुई है कि इस बार मोदी तीन कैबिनेट में हरियाणा के पूर्व सीएम और करनाल से सांसद मनोहर लाल खट्टर की लॉटरी लग सकती है। मनोहर लाल खट्टर को पीएम मोदी के बेहद करीबी और विश्वसनीय साथियों में शामिल माना जाता है। इसी कड़ी में चर्चाओं के मुताबिक नवीन जिंदल को भी केंद्र में मंत्री बनाए जाने को लेकर ठंडी हवा चल रही है। लेकिन दवा नहीं किया जा सकता है । राजनीति के जानकार लोगों का कहना है कि 2024 में एनडीए एलाइंस में शामिल पॉलिटिकल पार्टियों के नेताओं के द्वारा कथित रूप से मनपसंद के मंत्रालय की मांग की जा रही है। भाजपा के लिए यह भी चुनौती है कि उनको खुश रखा जाए। दूसरी तरफ हरियाणा में विधानसभा चुनाव को देखते हुए यह फैसला भी किया जाना है कि हरियाणा से कौन से सांसद को केंद्र में मंत्री बनाया जाए । हरियाणा में भाजपा को कड़ी टक्कर देने वाले कांग्रेस के पांच सांसद को ध्यान में रखते हुए इस बात से इनकार नहीं की विधानसभा चुनाव में भाजपा के द्वारा बहुमत जुटाना के लिए गर्मी हो या सर्दी पसीना बहाना ही पड़ेगा। इन सब बातों को देखते हुए इस बात की संभावना भी व्यक्त की जा रही है कि चंडीगढ़ में सीम की कुर्सी तक पहुंचने के लिए भाजपा के लिए दक्षिणी हरियाणा के छत्रप राव इंद्रजीत सिंह की अनदेखी करना आसान नहीं रहेगा। बाकी क्या कुछ होगा और हरियाणा से कौन से संसद की केंद्र में मंत्री बनने के लिए लॉटरी लगेगी ? यह सब भविष्य के गर्भ से अधिक भाजपा हाई कमान के पिटारे में ही है। Post navigation बोधराज सीकरी समाजसेवी अतिथि रूप में सेक्टर 46 के सामुदायिक केंद्र में अग्निहोत्र हवन यज्ञ आयोजन में हुए उपस्थित हरियाणा में 10 के 10 का दंभ, क्यों रह गया आधा अधूरा ?