एनडीए सरकार ने मंत्री का पद देने में किसी तरह का संतुलन नहीं रखा: अभय सिंह चौटाला

15 लोगों को बिना सांसद बने ही मंत्री बनाया गया है जो कि प्रजातांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है।

चंडीगढ़, 11 जून। इनेलो के प्रधान महासचिव अभय सिंह चौटाला ने कहा कि केंद्र में एनडीए की सरकार में हरियाणा से जो मंत्री बनाए गए हैं उनमें किसान वर्ग की पूर्णतया अनदेखी की गई है। दूसरा एक सांसद को राज्य मंत्री बनाया गया है जो पहले कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं। मंत्री का पद देने में किसी तरह का संतुलन नहीं रखा गया है। भाजपा का नारा था कि मिनिमम गवर्मेंट-मैक्सिमम गवर्नेंस जिसको पूरी तरह से दरकिनार करते हुए 75 मंत्री पद बांट दिए। भाजपा के नेता कहते थे कि अग्रिपथ/अग्रिवीर योजना इसलिए लाई गई थी कि फौज पर खर्चे का बहुत भार पड़ रहा है तो क्या 75 मंत्री बनाने से देश पर आर्थिक भार नहीं पड़ेगा? केंद्र की एनडीए की सरकार में मंत्री पद बांटने में मुस्लिम और ईसाई धर्म के लोगों की भी पूरी तरह से अनदेखी की गई है। भाजपा महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण देने की बात करती है लेकिन मंत्री पद देने में महिलाओं की भागीदारी 1 प्रतिशत से भी कम की गई है। वहीं 15 लोगों को बिना सांसद बने ही मंत्री बनाया गया है जो कि प्रजातांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है।

अभय सिंह चौटाला ने कहा कि एनडीए के घटक दलों ने किसानों को एमएसपी का कानून बनाने, अग्रिपथ योजना को खत्म करने जैसी बातें की थी लेकिन अब कोई भी घटक दल इन मुद्दों पर नहीं बोल रहा है। अग्रिपथ/अग्रिवीर योजना से हर साल जो हजारों जवान निकलेंगे वो क्या करेंगे ये भी बहुत बड़ा और महत्वपूर्ण सवाल है। अग्रिपथ/अग्रिवीर योजना से देश की सुरक्षा भी खतरे में पड़ गई है और जिन प्रदेशों से बड़ी तादाद में नौजवान पहले आर्मी में भर्ती होते थे अब उनपर भी रोजगार का संकट पैदा हो गया है। सबसे बड़ी बात यह है कि नेपाल ने अग्रिपथ/अग्रिवीर योजना के तहत भर्ती होने से ही मना कर दिया है।

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